कोरोना पर सरकार / 222 श्रमिक स्पेशल ट्रेनों से ढाई लाख लोगों को फायदा मिला; 7 दिन बाद रिकवरी रेट 4% बढ़कर 29.36% पर पहुंचा

कोरोना पर सरकार / 222 श्रमिक स्पेशल ट्रेनों से ढाई लाख लोगों को फायदा मिला; 7 दिन बाद रिकवरी रेट 4% बढ़कर 29.36% पर पहुंचा


लॉकडाउन में कई राज्यों ने मजदूरों को लाने के लिए ट्रेन चलाई है। इससे लोगों को काफी फायदा हुआ है। अजमेर से मजदूरों को लेकर जब ट्रेन हुगली पहुंची तो इस तरह खुशी का इजहार किया।





  • स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक- 24 घंटे में कोरोना के 3390 मामले सामने आए हैं और 1273 लोग ठीक हुए




  • भारतीय रेलवे ने 5231 कोच को कोविड- केयर सेंटर के रूप में तैयार किया है, ये 215 रेलवे स्टेशन पर मौजूद होंगे




नई दिल्ली. कोरोनावायरस की स्थिति को लेकर सरकार प्रेस ब्रीफिंग करती है। गृह मंत्रालय ने शुक्रवार को बताया कि अब तक 222 श्रमिक स्पेशल ट्रेनों से ढाई लाख लोगों को फायदा हुआ। स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा कि 42 जिलों में 28 दिन में कोई केस नहीं आया। 29 जिलों में पिछले 21 दिन में, 36 जिलों में 14 दिन में और 46 जिलों में 7 दिन से कोई केस नहीं आया। रिवकरी रेट 29.36% हो गया है। हर तीन लोगों में एक व्यक्ति सही हो चुका है। इसमें लगातार बढ़ोतरी हो रही है।


रिकवरी रेट में लगातार इजाफा









































तारीखरिकवरी रेट
8 मई29.36%
7 मई28.83%
6 मई28.72%
5 मई27.41%
4 मई27.52%
3 मई26.59%
2 मई26.65%
1 मई25.37%

स्वास्थ्य मंत्रालय में संयुक्त सचिव लव अग्रवाल ने बताया कि बीते 24 घंटे में कोरोना के 3390 मामले सामने आए हैं और 1273 लोग ठीक हुए हैं। अब तक 16 हजार 540 लोग ठीक हो चुके हैं और 37 हजार 916 लोग निगरानी में हैं। भारतीय रेलवे ने 5231 कोच को कोविड- केयर सेंटर के रूप में तैयार किया है। 215 रेलवे स्टेशन पर ये मौजूद होंगे। क्रॉस इंफेक्शन से बचने के लिए अलग-अलग कोच होंगे। 85 स्टेशन पर हेल्थ केयर स्टाफ रेलवे की ओर से दिया जाएगा। इसके लिए 2500 डॉक्टर और 35 हजार स्टाफ तय किया है। 


स्वदेशी टेस्टिंग किट की जांच जारी


आयुष संजीवनी एप्लीकेशन को लॉन्च किया गया है। आयुर्वेद का इस्तमाल पर स्टडी किया जाएगा। इसके लिए टीमें गठित की गई हैं। 21 अस्पतालों  को क्लीनिकल ट्रायल के लिए मंजूरी दे दी गई है। इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल रिसर्च (आईसीएमआर) की ओर से कई रैपिड टेस्टिंग किट की जांच की है। ये भारत में बनी हैं। जल्द ही इसके प्रयोग को लेकर गाइडलाइन जारी कर दी जाएगी। 


एक भी गलती सब बिगाड़ सकती है


एम्स के निदेशक के मुताबिक, जून-जुलाई तक संक्रमण चरम पर होगा। इस पर अग्रवाल ने कहा कि अगर हम ऐहतियात बरतें तो हो सकता है कि उस चरम जा ही न पाएं। इसके लिए सभी को मिलकर काम करना होगा। सबसे पहले हमें यह समझना है कि एनालिसिस कैसे करते हैं तो कुछ हजार से कई करोड़ तक के केस का आकलन किया जा रहा है। हम आज के हिसाब से देखते हैं कि किस तेजी से केस बढ़ रहे हैं। अब 10 दिनों में डबलिंग रेट पहुंच गया है। फिर हम राज्य और जिलों के हिसाब से देखते हैं। फिर उस डबलिंग रेट को और बढ़ाने की कोशिश करते हैं। केसों को कम करना सबसे अहम है। अगर हम इसे मैनेज कर लें तो हम काफी हद तक काबू पा लेंगे। अगर एक भी गलती हुई तो स्थिति बिगड़ सकती है। 


डबलिंग रेट दो दिन पहले 12 था। एक दिन में संक्रमितों की संख्या में काफी इजाफा हुआ है। इससे डबलिंग रेट घट गया है। अब 10 दिन हो गया है। मतलब हर 10 दिन में केस की संख्या डबल हो रहे हैं। देश में कुल संक्रमितों में अभी 3.2% संक्रमित ऑक्सीजन सपोर्ट, 4.7% आईसीयू और 1.1% संक्रमित वेंटिलेटर सपोर्ट पर हैं।  


विदेश में फंसे लोगों को निकालने का काम शुरू
गृह मंत्रालय की संयुक्त सचिव पुण्य सलिला श्रीवास्तव ने बताया कि श्रमिकों, छात्रों, श्रद्धालुओं और पर्यटकों को घर पहुंचाने के लिए 222 विशेष ट्रेन चलाई है। ढाई लाख से ज्यादा लोगों को इससे लाभ मिला है। अब विदेशों में फंसे नागरिकों को लाने का काम शुरू किया जा चुका है। पहले सबका पंजीकरण कराया जाएगा। केवल बिना लक्षण वाले यात्रियों को ही यात्रा की अनुमति दी जाएगी। बोर्डिंग से पहले सभी यात्रियों को हलफनामा देना होगा कि घर पहुंचने के बाद उन्हें अपने खर्चे पर 14 दिन इंस्टीट्यूशनल क्वारैंटाइन में रहना होगा।


इसी तरह जो लोग यहां फंसे हुए हैं और वे विदेश जाना चाहते हैं उसके लिए भी इंतजाम किया जा रहा है। जो ओसीआई कार्ड, ग्रीन कार्ड धारक यहां फंसे हुए हैं, उनके लिए वीजा का इंतजाम किया जा रहा है। जो लोग अपने वीजा की अवधि बढ़ाना चाहते हैं उसे बिना शुल्क लिए बढ़ाया जाएगा।